चंद्र को 'सोम' भी कहा जाता है ये मन – मस्तिष्क ,संवेदनशीलता, भावनाओं, मातृत्व, कोमलता और कल्पनाओं का प्रतीक है।
जब चंद्र ग्रह कुंडली में अशुभ स्थान (चतुर्थ, षष्ठम, अष्टम या द्वादश भाव)में होता है, तो यह स्मरणशक्ति की हानि, आत्मविश्वास की कमी, मासिक धर्म की समस्याएं, श्वसन समस्याएं और प्रजनन से जुड़ी परेशानियों का कारण बनता है। विशेष यह अकेला सप्तम भाव में वैवाहिक जीवन को दूषित करता है ।
चंद्र ग्रह के लिए सरल उपाय:
- अपने आस-पास का वातावरण साफ-सुथरा रखें और हमेशा धुले हुए वस्त्र पहनें।
- दादी व् मां के चरण स्पर्श करें और उनका आशीर्वाद लें।
- एकादशी और प्रदोष व्रत का पालन करें और ध्यान करें।
चंद्र को अनुकूल बनाने के लिए दान:
- सफेद वस्त्र या धोती दान।
- चावल, चीनी, मिश्री, कपूर का दान ।
- घी, दूध आदि का दान।
- इन दानों को योग्य ब्राह्मणों को देना सबसे उत्तम माना गया है।
चंद्र ग्रह उपायों के लाभ:
- अशुभ चंद्र ग्रह के दुष्प्रभावों को कम कर भौतिक और आध्यात्मिक विकास में सहायक।
- नकारात्मक प्रभावों को कम कर मानसिक शांति प्रदान करता है।
- शांति, सामंजस्य और इच्छाओं की पूर्ति में सहायक।
दुर्भाग्य, स्वास्थ्य समस्याओं, शत्रुओं और बुरी शक्तियों से मुक्ति पाने में सहायक ।